tag:blogger.com,1999:blog-18449440.post1215636137300324341..comments2024-02-21T21:44:01.379+05:30Comments on आइए हाथ उठाएँ हम भी: एक पैर रखता हूँ कि सौ राहें फूटतींलाल्टूhttp://www.blogger.com/profile/04044830641998471974noreply@blogger.comBlogger2125tag:blogger.com,1999:blog-18449440.post-65913313391804078202017-07-19T14:25:02.468+05:302017-07-19T14:25:02.468+05:30Anonymous महोदय ने जब अपना नाम पता तक नहीं बताया ह...Anonymous महोदय ने जब अपना नाम पता तक नहीं बताया है तो उनका अस्तित्व ही प्रश्नचिन्ह है। इसलिए उनके सुझाव और टिपण्णी का कोई अर्थ नहीं निकाला जा सकता। एक बात जो स्पष्ट होती है वह यह है कि लाल्टू के ब्लॉग को कोई न कोई पढ़ तो रहा है। Dr V N Sharmahttps://www.blogger.com/profile/02449995194916320900noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-18449440.post-12540953383529502702017-07-19T12:56:19.208+05:302017-07-19T12:56:19.208+05:30अपनी विचार धारा के अनुसार किये गए विश्लेषण को विज्...अपनी विचार धारा के अनुसार किये गए विश्लेषण को विज्ञान का रंग देकर रंगा शियार की कसर पूरी करता हुआ यह लेख जिसमे विज्ञान या वैज्ञानिक शब्द को टूल की तरह इस्तेमाल किया गया है इसे बौद्धिक आतंकवाद की संज्ञा से नवाजा जा सकता है।<br /><br />बंद मस्तिष्क के भीतर से निकली हुई कुलबुलाहट को साहित्य नहीं कहा जा सकता समय व शब्द नष्ट करने के लिए आपको क्षमा मांगनी चाहिए खेद व्यक्त करना चाहिए।<br /><br />अभिनन्दनAnonymousnoreply@blogger.com